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Thursday 28 March 2019

आपके द्वारा अधिकतर पूछे जाने वाले प्रश्नों के उत्तर: डाॅक्टर शोभा गुप्ता

प्रश्न 1- मेरी उम्र 25 वर्ष है मुझे पीरिएड में असहनीय दर्द होता है। क्या दर्द निवारक खानी चाहिए।

उत्तर - दर्द निवारक दवाएं सीधे किडनी पर प्रभाव डालती हैं जो कि सही नहीं है। दरहसल आजकल की बदलती जीवनशैली और खानपान में बदलाव की वजह से पीरियड्स के दिनों में बहुत अधिक दर्द की समस्या होना बेहद आम बात हो गयी है। संतुलित आहार और व्यायाम की कमी के चलते शरीर में सहन करने की शक्ति नहीं रहती है, जिससे दर्द का अनुभव ज्यादा होता है, इसके साथ-साथ कई बार पीरियट्स के दौरान फ्लो ठीक प्रकार से नहीं हो पाता है, जिस कारण महिलाओं को अधिक दर्द होता है।
वैसे तो हमे रोज व्यायाम करना चाहिए लेकिन इन दिनों में महिलाएं दर्द के चलते व्यायाम नहीं करती हैं। यह बिल्कुल गलत है। रक्त प्रवाह को अच्छा रखने के लिए और दर्द को दूर रखने के लिए व्यायाम जरूर करना चाहिए। कई बार हार्मोन की समस्या से भी ऐसी दिक्कतें आती हैं। अगर लगातार दर्द बना रहता है तो बिना देर
किए किसी स्त्री रोग विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।

प्रश्न 2- मेरा नाम प्रीतो है, एक बच्चे के बाद कॉपर टी लगवाना चाह रही हूं, कब लगेगा
उत्तर - कॉपर टी एक कारगर गर्भ निरोधक है। यह युटेरस में शुक्राणु और अंडाणु को मिलने नहीं देता है और इस कारण गर्भ नहीं ठहरता। यह बच्चों में सही अंतर रखने का सटीक उपाय है, जिसे सुविधानुसार हटाया भी जा सकता है। इसे अनुभवी मेडिकल पर्सन द्वारा ही लगाया जाना चाहिए। काॅपर टी लगवाने से पहले कुछ बातों का ध्यान रखें जैसे डिलीवरी के दो दिन बाद से चार हफ्ते तक अगर डिलीवरी या अबॉर्शन के बाद इन्फेक्शन हो तो, पीरियड्स के अलावा भी ब्लीडिंग हो या महिला गर्भवती हो, या फिर युटेरस या सर्विक्स का कैंसर हो। 
इसके साथ-साथ अगर यौन संक्रमण का रिस्क हो तो भी काॅपर टी लगवाने से पहले इसका इलाज जरूरी हो जाता है। कोई भी महिला जो बच्चों में अंतर रखना चाहती है उसको मासिक धर्म के बाद 5 से 7 दिन के बीच मल्टी लोड लगवाया जाता है। काॅपर टी लगवाने से पहले आप किसी अच्छी स्त्री रोग विशेषज्ञ से जांच अवश्य करा लें।

प्रष्न 3- मेरी उम्र ३० साल है और मेरे पति की उम्र ३३ साल है हम दोनों ही हेल्थी है परंतु हमे हेल्थ की कोई समस्या नही है पिछले डेढ़ साल से दूसरे बच्चे के लिए कोशिश कर  रहे है और मेरी मेंसुरेशन साइकिल भी सामान्य है कृपया मेरा मार्गदर्शन करे। 
उत्तर - कभी कभी परेशानी बच्चे के जन्म से दिखाई देती है फिर भी आप दोनों को एक बार स्त्रीरोग विशेषज्ञ को दिखा लेना चाहिए और अपने अण्डोत्सर्ग दिनों के बारे में जानकारी लेनी चाहिए उन दिनों  आप अपने पति के साथ यौन संबंध बनाए । एक बार अपने पति का भी टेस्ट जरूर करा ले।

प्रश्न 4- मेरी उम्र 27 वर्ष है पीरिएड आने के पहले बाएं साइड पेट में बहुत दर्द होता है।
उत्तर - बदलती जीवनशैली, प्रदूषण और खानपान में बदलाव की वजह से अक्सर महिलाओं में पीरियड्स के दिनों में बहुत अधिक दर्द की समस्या आज बेहद आम है। मासिक धर्म में अनियमितता होने पर भी महीने के वो दिन बहुत ही दर्द भरे हो सकते हैं। आपको पेट के खास हिस्से में ज्यादा दर्द होता है, इसकी जांच करवाना आवश्यक है, अंडाशय में गांठ भी इसका कारण हो सकती है। अल्ट्रासाउंड भी करवाना जरूरी है, सम्पर्ण जांच के बाद ही कुछ कहा जा सकता है। सामान्य स्थिति में पीरियड्स के दौरान प्रोस्टाग्लैंडीन नामक आणविक यौगिक स्रावित होते हैं। पीरियड्स के समय गर्भाशय की वॉल में तेजी से संकुचन होता है। जब गर्भाशय की वॉल में संकुचन होता है, जब गर्भाशय की मांसपेशियां सिकुड़ती हैं, वे अन्तःगर्भाशय के ऊतक में रक्त की आपूर्ति को बाधित करता है, तो थोड़ी देर के लिये ऑक्सिजन की पूर्ति कम हो जाती है और ऑक्सिजन की कमी के कारण गर्भाशय के उतक प्रोस्टाग्लैंडीन नामक केमिकल का स्त्राव करते हैं जिसके कारण दर्द होता

प्रश्न 5-  मेरी उम्र्र 26 वर्ष है, हर मासिक धर्म लगभग 4 दिन पहले हो जाता है। पूरे शरीर में भयंकर दर्द रहता है। 
उत्तर - अनियमित माहवारी के कई कारण हो सकते हैं जैसे, अचानक वजन का बढ़ना या घटना, बहुत अधिक व्यायाम करना, नशा करना, कुपोषण, अत्यधिक तनाव होना, अधिक दवाईयों का प्रयोग या हार्मोन असंतुलन के कारण। इसकी जांच के बाद ही कुछ कहा जा सकता है कि ऐसा किस कारण से हो रहा है फिर भी माहवारी के समय ब्लड प्रेशर चेक कराएं। कुछ अन्य बातों का भी ध्यान रखें जैसे- डॉक्टर को अपनी हर समस्या के बारे में बताएं। संकोच न करें और फिर उनसे विस्तारपूर्वक सलाह लें। डॉक्टर से खानपान से जुड़ी जानकारी लें। तली, डिब्बाबंद, चिप्स, केक, बिस्कुट और मीठे पेय आदि अधिक न लें। सही मासिक धर्म के लिए स्वस्थ भोजन का चयन बहुत जरूरी है। सीमा में ही खाएं। पौष्टिक भोजन का ही सेवन करने का प्रयास करें। अनाज, मौसमी फल और सब्जियां, पिस्ता-बादाम, कम वसा वाले दूध से बने आहार भी अपनी रोज की खुराक में शामिल करें। दिन की शुरुआत हमेशा 2-3 गिलास पानी पीकर करें और पूरे दिन में 8-10 गिलास पानी जरूर पिएं। पानी से शरीर के टॉक्सिंस निकल जाते हैं और इससे आप फिट रहती हैं।  इसके साथ-साथ किसी स्त्री रोग विशेषज्ञ से अपने हार्मोन की जांच अवश्य कराएं।